गुरुनानक जयंती पर्व पूर्णिमा,में गुरुओं की पूजा करें।
कार्तिक पूर्णिमा मंगलकारी,गंगा के पुण्य स्नान करें।।
शुचि गंगा स्नान का विशेष,फल गंगा माई प्रदान करें।
देव दीपावली भी होती ये तो,देवों का भी ध्यान करें।।
मान्यता रही त्रिलोक में,त्रिपुरासुर राक्षस का था राज।
देवताओं ने शिवजी से,असुर से उद्धार की की बात।।
त्रिशूल से कार्तिक पूर्णिमा,को त्रिपुरासुर वध आघात।
त्रिपुरारी ने राक्षसमुक्त करा,दी देवताओं को सौगात।।
हर्ष में सभी देवताओं ने स्वर्ग में,भी दीप जलाए तात।
इसीदिन देवताओं का,काशी में प्रवेश हुआ की बात।।
धार्मिक-सांस्कृतिक नगरी,काशी के ऐतिहासिक घाट।
कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा की,धारा सम होए हर घाट।।
देवतागण काशी प्रवेश पर,दीए जला दीवाली मनाया।
हर्षित देवों ने काशी में,देव दीपावली उत्सव मनाया।।
चित्रकूट अयोध्या मथुरा,वृंदावन काशी में जगमगाया।
देवदीपावली पर्व सनातन धर्म में,महत्वपूर्ण है भाया।।
इसदिन गुरु नानक जी की,जयंती भी मनाई जाती है।
गुरुद्वारों में शब्दकीर्तन होता,गुरुवाणी गाई जाती है।।
कार्तिक मास शुक्ल पक्ष को,हर्ष पूर्ण मनाई जाती है।
हरमंदिर साहिब और,अकाल तख्त सजाई जाती है।।
सिक्ख परिवार का विशाल,नगर कीर्तन भ्रमण होता।
विश्व के प्रत्येक गुरुद्वारे में,लंगर सेवा है संपन्न होता।।
सायं काल सभी गुरुद्वारों में,सुंदर प्रकाशोत्सव होता।
अमृतसर साहिब और सिक्ख घरों परिवारों में होता।।
प्रथम सिख गुरु,गुरु नानक जी का जश्ने जन्म दिवस।
सबसे प्रसिद्ध सिख धर्म,संस्थापक का जन्म दिवस।।
तीन सिख उत्सवों में एक है, गुरु नानक जन्म दिवस।
कार्तिक गुरुपर्व सिखों के,उत्सव-प्रार्थना का दिवस।।
देव दीपावली गुरु नानक जयंती कार्तिक पूर्णिमा की।
आप सभी को हार्दिक शुभकामनाएं तीनों पर्वों की।।
ज्ञान विभूषण डॉ. विनय कुमार श्रीवास्तव
सेवानिवृत्त वरिष्ठ प्रवक्ता-पी.बी.कालेज,प्रतापगढ़,उ.प्र.
(शिक्षक कवि लेखक साहित्यकार समीक्षक एवं समाजसेवी)



