
सबका एक विचार, स्वर्ग को माने सारे ।
मरने पर हो प्राप्त, लगे हैं धार्मिक नारे ।।
अपनी-अपनी सोच, स्वर्ग पृथ्वी पर दिखता ।
जिसके जैसे कर्म, यहीं पर सब कुछ मिलता ।।१।।
खेलकूद को देख, समय था निश्चित प्यारे ।
फिर टी वी का दौर, चिपकते घर के सारे ।।
मोबाइल से प्रेम, समय की कब है सीमा ।
चौपट सारे काम, करे क्या डाकू भीमा ।।२।।
-राम किशोर वर्मा
रामपुर (उ०प्र०)
दिनांक:- ०२-११-२०२५ रविवार




